अब बिहार के स्कूलों में छात्र-छात्राएं सीखेंगे तैरना, आपदा के समय खुद को और दूसरों को बचाने की मिलेगी ट्रेनिंग
Friday, Apr 11, 2025-08:58 PM (IST)

पटना: बिहार सरकार ने एक बड़ी पहल की है, जिसके तहत अब राज्य के सरकारी स्कूलों में 9वीं से 12वीं तक के विद्यार्थियों को तैराकी का प्रशिक्षण दिया जाएगा। इस योजना का उद्देश्य छात्रों को आपदा प्रबंधन के प्रति सक्षम बनाना है, ताकि जलजनित आपदाओं के दौरान वे स्वयं के साथ दूसरों की भी मदद कर सकें।
जहां भी पहले से स्विमिंग पूल मौजूद हैं, वहां योग्य और प्रशिक्षित कोच द्वारा विद्यार्थियों को प्रशिक्षण दिया जाएगा। वहीं दूसरी ओर, जिला और प्रखंड स्तर पर भी नए स्विमिंग पूल का निर्माण किया जाएगा। यह संपूर्ण कार्यक्रम बिहार शिक्षा परियोजना परिषद (BEPC) और बिहार राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के सहयोग से संचालित किया जा रहा है।
इस योजना को मुख्यमंत्री विद्यालय सुरक्षा कार्यक्रम के तहत लागू किया गया है, जो कि स्कूलों में आपदा से बचाव की शिक्षा देने का एक व्यापक अभियान है। इस योजना का एक अहम लक्ष्य यह भी है कि राज्य में नदियों और तालाबों में डूबने से होने वाली दुर्घटनाओं की संख्या में कमी लाई जा सके।
'सुरक्षित शनिवार' और 'आपदा मित्र' जैसे पहलू योजना को बनाएंगे असरदार
बीईपी के राज्य कार्यक्रम पदाधिकारी डॉ. उदय कुमार उज्ज्वल को आपदा प्रबंधन प्राधिकरण में सप्ताह में दो दिन की प्रतिनियुक्ति दी गई है, ताकि स्कूलों में 'सुरक्षित शनिवार' जैसे कार्यक्रम प्रभावी रूप से चल सकें। इन गतिविधियों के जरिए विद्यार्थियों को न केवल तैराकी बल्कि अन्य आपदा से बचाव के उपाय भी सिखाए जाएंगे।
भूकंप सुरक्षा प्रशिक्षण भी स्कूलों में शुरू होगा
जिन जिलों को भूकंप संभावित क्षेत्र में रखा गया है, वहां प्रत्येक दिन की प्रार्थना सभा के दौरान भूकंप से बचाव का मॉक ड्रिल करवाया जाएगा। ‘आपदा मित्र’ के रूप में प्रशिक्षित छात्र साथी बच्चों और परिवार के अन्य सदस्यों को भी भूकंप जैसी आपदाओं के समय सुरक्षित रहने की विधियां सिखाएंगे।
पटना में तैयारी जोरों पर, जल्द शुरू होगा प्रशिक्षण कार्य
राजधानी पटना में इस योजना के लिए तैयारियां तेजी से की जा रही हैं। विद्यार्थियों को व्यावसायिक तौर पर प्रशिक्षित कोच द्वारा स्विमिंग सिखाई जाएगी, ताकि वे न केवल आपदा के समय उपयोगी बनें, बल्कि भविष्य में भी इसका लाभ उठा सकें।