मुख्य सचिव की अध्यक्षता में हुई ग्रामीण कार्य विभाग की उच्चस्तरीय बैठक, पदाधिकारियों को दिए गए ये निर्देश
Wednesday, Sep 11, 2024-05:57 PM (IST)
पटना: सुदूरवर्ती ग्रामीण क्षेत्रों में छोटी बसावटों तक सड़क-सम्पर्कता सुनिश्चित कराने तथा ग्रामीण सड़कों के बेहतर रख-रखाव के मुख्यमंत्री के दिशा-निर्देशों के आलोक में आज मुख्य सचिव अमृत लाल मीणा की अध्यक्षता में ग्रामीण कार्य विभाग की एक उच्च स्तरीय बैठक सम्पन्न हुई, जिसमें ग्रामीण कार्य विभाग के अपर मुख्य सचिव सहित इस विभाग के सभी वरीय पदाधिकारियों ने भाग लिया।
"आगामी 15 दिनों में अभियान चलाकर सभी पथों का निरीक्षण कराना सुनिश्चित करे"
उक्त बैठक में मुख्य सचिव द्वारा पंचवर्षीय अनुरक्षण अवधि अधीन लगभग 65000 कि.मी. ग्रामीण पथों का अनुरक्षण सुनिश्चित कराने के निर्देश दिए गए। विभाग को निर्देशित किया गया कि आगामी 15 दिनों में अभियान चलाकर सभी पथों का निरीक्षण कराना सुनिश्चित करे तथा जो भी पथ अनुरक्षित नहीं पाए जाते हैं, उनसे संबंधित संवेदकों / अभियंताओं के विरूद्ध दण्डात्मक कार्रवाई करना सुनिश्चित करे। जो संवेदक पथों के संधारण में चूक करते पाए जाएं, उनके विपत्रों से दण्ड स्वरूप कटौती की जाए एवं 'बिहार ठेकेदारी निबंधन नियमावली' के अन्तर्गत उन्हें डिबार किया जाए। बैठक के दौरान विभाग को निर्देशित किया गया कि स्वतंत्र रूप से जांच हेतु जिला पदाधिकारी को उक्त पथों की सूची उपलब्ध करा कर उन्हें अपने स्तर से प्रत्येक बुधवार / गुरूवार को अभियान चला कर BRRMS Mobile App से अन्य विभागों के अभियंताओं से जांच कराकर फीडबैक प्राप्त करने को कहा जाए।
बैठक में लिया गया ये निर्णय
बैठक में यह भी निर्णय लिया गया कि सभी ग्रामीण पथ जो Defect liability अवधि से बाहर हैं, उन सभी पथों में से क्षतिग्रस्त पथों के नवीनीकरण / उन्नयन हेतु चयन एवं स्वीकृति की चरणबद्ध तरीकों से कार्रवाई करते हुए शीघ्र कार्य पूर्ण कराया जाए। एकल सम्पर्कता प्रदान करने हेतु सभी लगभग 4200 छूटे टोले / बसावटों के लिए चरणबद्ध तरीके से प्रस्ताव तैयार कराते हुए आगामी दो वर्षों में निर्माण कार्य पूर्ण कराने हेतु आवश्यक कार्रवाई करने का भी निर्णय लिया गया। बैठक में निदेशित किया गया कि मुख्यमंत्री ग्रामीण सेतु योजनान्तर्गत अत्यावयक पुलों को चिन्हित कर प्राथमिकता के आधार पर चयन कर चरणबद्ध तरीके से स्वीकृत करा कर शीघ्र निर्माण कार्य प्रारंभ कराने की कार्रवाई की जाए।
प्रभावशाली अनुश्रवण कराया जाना विभाग सुनिश्चित करे
वहीं, बैठक में निर्देशित किया गया कि पंचवर्षीय अनुरक्षण हेतु मानवरहित अभिनव तकनीकी (Network Survey Vehicle) का इस्तेमाल करते हुए प्रभावशाली अनुश्रवण कराया जाना विभाग सुनिश्चित करे। 231 स्नातक/ स्नाकोत्तकर सिविल इन्जीनियर को संविदा के आधार पर सेवा लेने हेतु आवेदन NIC के Online Portal पर प्राप्त किए जाने का भी निर्णय बैठक में लिया गया। CPWD एवं अन्य राज्यों से ठीकेदार नियमावली प्राप्त कर ग्रामीण कार्य विभाग हेतु 'संशोधित बिहार ठेकेदारी निबंधन नियमावली' का प्रारूप एवं प्रस्ताव तैयार कर अग्रेतर कार्रवाई करने का निर्णय उक्त बैठक में लिया गया।
बैठक के दौरान मुख्य सचिव द्वारा विभाग को यह निर्देशित किया गया कि ग्रामीण कार्य विभाग Social Media पर सतत रूप से अपने सभी कार्यक्रमों/ नियमों / संकल्पों / परिपत्रों एवं उपलब्धियों से अवगत कराना सुनिश्चित करे ताकि आम जन विभागीय कार्यक्रमों एवं उपलब्धियों से अवगत होते हुए लाभान्वित होते रहें। विभाग के सभी अभियंता अपने क्षेत्रान्तर्गत पथों का उत्कृष्ट रख-रखाव सुनिश्चित करावें एवं चालू कार्यों को शीघ्र पूर्ण कराएं।