Bihar News: पुराने केसों को दबाने की गलती पड़ी भारी, पांच दारोगा निलंबित
Sunday, Feb 23, 2025-04:47 PM (IST)
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मोतिहारी: बिहार के मोतिहारी जिले में पुलिस महकमे में बड़ा भूचाल आया है। जिले में एक साथ पांच पुलिस अधिकारियों को निलंबित कर दिया गया, जिससे पूरे पुलिस विभाग में हड़कंप मच गया है। यह सख्त कार्रवाई चंपारण रेंज के डीआईजी हरिकिशोर राय के निरीक्षण के दौरान सामने आई गंभीर लापरवाही के कारण की गई। बताया जा रहा है कि निलंबित किए गए अधिकारियों ने अपने पुराने थानों के मामलों का प्रभार नए अधिकारियों को नहीं सौंपा था, जिससे केसों की जांच प्रभावित हो रही थी।
पुराने केसों का प्रभार न देने पर गिरी गाज
निरीक्षण के दौरान डीआईजी ने पाया कि गड़हिया ओपी के थानाध्यक्ष राजीव रंजन कुमार ने हरैया थाना से स्थानांतरित होने के एक साल बाद भी करीब 40 केसों का प्रभार नहीं सौंपा था। इस गंभीर लापरवाही को देखते हुए डीआईजी ने तत्काल प्रभाव से उन्हें निलंबित कर दिया। इसके अलावा, चार अन्य दारोगाओं को भी निलंबित कर दिया गया। इन सभी पर अपने पुराने थानों के मामलों का प्रभार न देने का आरोप था, जिससे लंबित मामलों की जांच में देरी हो रही थी। निलंबित किए गए दारोगाओं में छोड़ादानो थाना के शिवजी सिंह, पचपकड़ी थाना के ब्रजभूषण सिंह, जय बजरंग थाना के संजय कुमार सिंह और रक्सौल थाना के संजय कुमार सिंह शामिल हैं।
एसपी की सख्ती के बाद बड़ी कार्रवाई
मोतिहारी एसपी स्वर्ण प्रभात के कार्यभार संभालने के बाद पॉकेट डिस्पोजल (लंबित केसों को बिना उचित प्रक्रिया के निपटाने) पर कड़ी नजर रखी जा रही थी। जिले में लगभग 22,000 पॉकेट डिस्पोजल के मामले सामने आए थे। एसपी ने इस पर सख्त कदम उठाते हुए सभी अधिकारियों को निर्देश दिया था कि वे अपने पुराने मामलों का पूरा प्रभार नए अधिकारियों को सौंपें। लेकिन कुछ अधिकारी अब तक इस निर्देश का पालन नहीं कर रहे थे, जिसके चलते उन पर यह कड़ी कार्रवाई की गई है।
जिले के अन्य अधिकारियों में हड़कंप, आगे और भी गिर सकती है गाज
इस कार्रवाई के बाद जिले में पदस्थ अन्य पुलिस अधिकारियों में हड़कंप मच गया है। माना जा रहा है कि जिन अधिकारियों ने अब तक पुराने मामलों की जिम्मेदारी पूरी तरह से नहीं सौंपी है, उन पर भी जल्द ही सख्त कार्रवाई हो सकती है। डीआईजी हरिकिशोर राय ने स्पष्ट कर दिया है कि किसी भी हाल में लापरवाह अधिकारियों को बख्शा नहीं जाएगा। उन्होंने कहा कि पुलिस विभाग की कार्यशैली को पारदर्शी और प्रभावी बनाने के लिए यह कार्रवाई जरूरी थी।