Bihar Election 2025: "अगर ये गलती से भी आ गए तो बिहार में आतंक मचा देंगे", राहुल गांधी के सेना वाले बयान पर भड़के चिराग पासवान

Wednesday, Nov 05, 2025-02:03 PM (IST)

Bihar Election 2025: केंद्रीय मंत्री और लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के प्रमुख चिराग पासवान (Chirag Paswan) ने बुधवार को कांग्रेस नेता राहुल गांधी (Rahul Gandhi) की भारतीय सेना के बारे में हालिया टिप्पणी की आलोचना की और उनके बयान को “शर्मनाक और दुर्भाग्यपूर्ण” करार दिया है।

अगर देश के नेता प्रतिपक्ष की खुद की सोच ऐसी..- Chirag Paswan
पटना में पत्रकारों से बात करते हुए केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान ने कहा, "अगर देश के नेता प्रति पक्ष की खुद की सोच ऐसी है। वे हमारी सेना को जात-पात धर्म और मजहब में बांट कर देखने का काम कर रहे हैं तो इससे ज्यादा लोकतंत्र के लिए दुखद बात नहीं हो सकती। अगर आपको इतनी ही चिंता है तो बता दीजिए ना देश की सत्ता में लंबे समय तक कौन था शासन में? अगर आपको सेना में भी जाति के आधार पर विभाजन करना था तो करवा देते... आपको आज ये याद आ रहा? चुनाव में कई बार आप ऐसी बात बोलते हैं, जिससे ध्रुवीकरण हो लेकिन हमेशा एक मर्यादा रखनी चाहिए।

राहुल गांधी ने सैनिकों का किया अपमान- Chirag Paswan
चिराग पासवान ने कहा, "सेना एक ऐसा विषय है, जिसका राजनीतिकरण नहीं किया जाना चाहिए। उन्होंने सैनिकों का अपमान किया है। यह न केवल शर्मनाक है, बल्कि दुर्भाग्यपूर्ण भी है। अगर विपक्ष के नेता की यही सोच है, जो हमारी सेना को जाति और धर्म के आधार पर देखते हैं, तो इससे ज़्यादा दुर्भाग्यपूर्ण और क्या हो सकता है।" पासवान ने आगे कहा कि अगर राहुल गांधी वाकई इस मुद्दे को लेकर चिंतित हैं, तो उन्हें कांग्रेस पार्टी के लंबे कार्यकाल पर विचार करना चाहिए। विपक्षी महागठबंधन पर निशाना साधते हुए चिराग पासवान ने आगे कहा, "अगर ये (राजद और सहयोगी) गलती से भी आ गए तो बिहार में आतंक मचा देंगे।" उनका इशारा इस ओर था कि राष्ट्रीय जनता दल और उसके सहयोगियों की सत्ता में वापसी बिहार में अराजकता का कारण बनेगी।

बता दें कि चुनाव प्रचार के आखिरी दिन मंगलवार को कुटुंबा में एक चुनावी रैली में बोलते हुए राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि भारतीय सेना "देश की 10% आबादी के नियंत्रण में है", और जाहिर तौर पर इस संस्थान में उच्च जातियों के प्रभुत्व का हवाला दिया। उन्होंने भारत में आर्थिक असमानता के मुद्दे पर प्रकाश डाला और कहा कि 90% आबादी दलितों, महादलितों, पिछड़े वर्गों और अल्पसंख्यकों सहित हाशिए के समुदायों से संबंधित होने के बावजूद, कॉर्पोरेट भारत, नौकरशाही, न्यायपालिका और अन्य प्रमुख संस्थानों में उनका प्रतिनिधित्व कम है।


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Content Editor

Swati Sharma

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