बाबूलाल मरांडी ने हेमंत सरकार को कटघरे में किया खड़ा, कहा- आयुष्मान भारत योजना की सुविधा को खत्म करने में जुटी सरकार

Wednesday, May 28, 2025-11:11 AM (IST)

Jharkhand News: भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष एवं नेता प्रतिपक्ष बाबूलाल मरांडी ने राज्य सरकार पर बड़ा निशाना साधा। मरांडी ने प्रदेश कार्यालय में संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए राज्य के 2 प्रमुख मुद्दे पर हेमंत सरकार को कटघरे में खड़ा किया। उन्होंने राज्य सरकार द्वारा राज्य की जनता को आयुष्मान योजना के लाभ से वंचित किए जाने पर गहरी चिंता व्यक्त की।

"राज्य सरकार ने वाहवाही के लिए घोषणाएं तो खूब की हैं, लेकिन..."
मरांडी ने कहा कि आयुष्मान भारत योजना जो स्वास्थ्य के क्षेत्र में भारत सरकार की अनूठी पहल है जिसे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने झारखंड की धरती से ही लॉन्च किया था आज झारखंड में शिथिल पड़ी हुई है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने गरीबों के 5 लाख तक के इलाज की सुविधा उपलब्ध कराई है। इस योजना के प्रावधान के तहत केंद्र सरकार की भागीदारी 60त्न और राज्य सरकार की 40त्न है और यदि राज्य सरकार इसे अपने राज्य की योजना में अलग नाम से चलाती है तो यह अनुपात 40:60 का हो जाता है। झारखंड में यह मुख्यमंत्री स्वास्थ्य योजना के अंतर्गत इसी अनुपात में चल रहा है। उन्होंने कहा कि झारखंड सरकार के प्रावधान के तहत लाल कार्ड, पीला कार्ड, हरा कार्ड, धारियों के साथ राज्य के कर्मचारी, पेंशन धारी सहित पत्रकार, वकील आदि भी शामिल हैं। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने वाहवाही के लिए घोषणाएं तो खूब की हैं, लेकिन वास्तविकता इसके विपरीत है। आज सरकार के निर्णयों से जनता परेशान है। हेमंत सरकार ने ग्रामीण क्षेत्र के लिए 30 बेड के हॉस्पिटल और शहरी क्षेत्र के लिए 50 बेड की अनिवार्यता की है जबकि ग्रामीण के लिए यह नियम कहीं से भी उपयुक्त नहीं है। झारखंड के ग्रामीण क्षेत्रों में 30 बेड के हॉस्पिटल उपलब्ध नहीं है जबकि भारत सरकार के निर्णयों में 10 बेड के हॉस्पिटल का प्रावधान किया गया है। ऐसे में यह सरकार अपने निर्णयों से बड़े अस्पतालों को लाभान्वित करना चाहती है।

"आज गरीब जनता इलाज के लिए दर- दर भटक रही"
मरांडी ने कहा कि इतना ही नहीं राज्य में जो 750 हॉस्पिटल मुख्यमंत्री स्वास्थ्य योजना में सूचीबद्ध हैं जिसमें प्राप्त जानकारी के अनुसार 538 हॉस्पिटल का भुगतान फरवरी 25 से नहीं हुआ है और 212 हॉस्पिटल का पिछले 10 महीने से बकाया भुगतान नहीं हुआ। उन्होंने कहा कि ऐसे में सूचीबद्ध अस्पतालों ने राज्य सरकार को त्राहिमाम संदेश भेजकर गरीबों का इलाज इस योजना के तहत बंद कर दिया है। आज गरीब जनता इलाज के लिए दर- दर भटक रही और जान बचाने के लिए महंगे इलाज कराने के लिए विवश है।


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Content Editor

Khushi

Related News

static