फर्जी प्रमाण पत्र पर नौकरी पाने वाले कनीय दूरसंचार अधिकारी को 3 साल की सजा, 10 हजार रुपए जुर्माना

4/19/2022 12:49:43 PM

पटनाः बिहार में पटना व्यवहार न्यायालय स्थित केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) की विशेष अदालत ने फर्जी प्रमाण-पत्र के आधार पर नौकरी पाने वाले एक कनीय दूरसंचार अधिकारी को तीन वर्ष के सश्रम कारावास के साथ ही दस हजार रुपए जुर्माने की सजा सुनाई।

विशेष न्यायाधीश अनंत कुमार की अदालत ने मामले में सुनवाई के बाद सहरसा जिला के तत्कालीन कनीय दूरसंचार अधिकारी सुदामा सिंह को यह सजा सुनाई है। सीबीआई के विशेष लोक अभियोजक ईश्वर सिंह ने बताया कि अभियुक्त सुदामा सिंह वर्ष 1989 में बीएससी इंजीनियरिंग इलेक्ट्रिकल का फर्जी प्रमाण पत्र बनवाकर दूरसंचार विभाग में जेटीओ के पद पर नियुक्त हुआ।

नौकरी पाने के लगभग 15 वर्षों बाद विभागीय जांच में इस बात का खुलासा होने पर सीबीआई ने वर्ष 2004 में मामला दर्ज कर अनुसंधान किया और सुदामा के खिलाफ आरोप पत्र समर्पित किया था। लोक अभियोजक ने मामले में कुल 8 गवाहों का बयान अदालत में कलमबंद करवाया था।


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Ramanjot

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