'अब पार्टी की कमान संभालें निशांत भाई'... JDU दफ्तर के बाहर लगे पोस्टर, नीतीश के बेटे की राजनीति में एंट्री को लेकर अटकलें तेज
Monday, Dec 08, 2025-04:24 PM (IST)
Nishant Kumar: मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (Nitish Kumar) का परिवार पारंपरिक रूप से बिहार की सक्रिय राजनीति से दूर रहा है। उनके बेटे, निशांत कुमार ने राजनीतिक गतिविधियों या अपने पिता की पार्टी JDU में शामिल होने में कोई दिलचस्पी नहीं दिखाई है, जबकि नीतीश कुमार (Nitish Kumar) ने खुद बार-बार कहा है कि वह अपने बेटे को राजनीति में धकेलना नहीं चाहते हैं। हालांकि, पटना में एक चौंकाने वाले घटनाक्रम के बाद अब बिहार के राजनीतिक गलियारों में नई अटकलें लगाई जा रही हैं।
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और उनके बेटे निशांत के पोस्टर कई सड़कों और JD(U) कार्यालय के बाहर लगे दिखे हैं। पोस्टरों पर लिखा है, “नीतीश का सेवक… निशांत की मांग… अब पार्टी की कमान संभालें निशांत भाई। (नीतीश के समर्थक निशांत की मांग करते हैं… अब निशांत भाई को पार्टी की कमान संभालनी चाहिए)।" ये पोस्टर, नीतीश कुमार को ऐतिहासिक 10वीं बार मुख्यमंत्री के रूप में शपथ लेने पर बधाई देते हुए, दावा करते हैं कि निशांत JD(U) के भविष्य के नेता हैं। उनके अचानक सामने आने से पार्टी कार्यकर्ताओं और जनता के बीच इस बात पर चर्चा शुरू हो गई है कि क्या निशांत कुमार सक्रिय राजनीति में कदम रखने की तैयारी कर रहे हैं।

JDU के भीतर यह सवाल उठाया जा रहा है कि क्या नीतीश कुमार अब अपने बेटे को राजनीति में लाने पर विचार कर रहे हैं और क्या यह पार्टी के भविष्य के लिए एक बड़ा बदलाव हो सकता है। राजनीतिक पर्यवेक्षकों का कहना है कि निशांत का प्रवेश न केवल JDU की आंतरिक गतिशीलता बल्कि बिहार के व्यापक राजनीतिक परिदृश्य को भी नया आकार दे सकता है। हालांकि अभी भी इस बात पर कोई स्पष्टता नहीं है कि निशांत कुमार राजनीति में कब शामिल होंगे, लेकिन कई लोगों का मानना है कि अगर वह अपने पिता के नक्शेकदम पर चलते हैं और लोगों के लिए काम करते हैं, तो वह बिहार के राजनीतिक क्षेत्र में अपनी जगह बना सकते हैं।
चल रही अटकलों को और हवा देते हुए, JD(U) के राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष संजय कुमार झा ने 5 दिसंबर को एक महत्वपूर्ण बयान दिया। मीडिया से बात करते हुए उन्होंने कहा कि पार्टी कार्यकर्ता, समर्थक और शुभचिंतक चाहते हैं कि निशांत पार्टी में शामिल हों और इसके काम में योगदान दें। हालांकि, उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि अंतिम फैसला निशांत कुमार का ही होगा।

